एक समय हुआ करता था जब भारतीय जनता पार्टी और शिवसेना एक दुसरे के बड़े ही पक्के से साथी हुआ करते थे और ये चीज हम लोगो ने हर जगह पर देखी भी है. मगर बीते दौर में राजनीतिक मायने और पहचाने पूरी तरह से बदल गयी और दोनों एक दुसरे के विरोधी बन चुके है. इस बात का आलम इस कदर है कि ठाकरे साहब अब भाजपा से सिर्फ महाराष्ट्र में ही नही बल्कि और दुसरे राज्यों में जाकर के भी लड़ना चाह रहे है और हाल ही में उन्होंने ये दर्शा भी दिया है.
शिवसेना लड़ेगी उत्तर प्रदेश में चुनाव, योगी जी का समीकरण बिगाड़ने की कोशिश
शिवसेना की तरफ से हाल ही में ये ऐलान किया गया है कि उत्तर प्रदेश में जो विधानसभा चुनाव होने जा रहे है उसमे हमारी पार्टी भी हिस्सा लेगी. कई रिपोर्ट्स में कहा गया है कि शिवसेना 100 सीटो पर तो कुछ रिपोर्ट्स की माने तो शिवसेना 403 सीट्स पर चुनाव लड़ने वाली है. ये अपने आप में काफी बड़ा आंकड़ा है जो बताया जा रहा है. शिवसेना यहाँ पर जीत तो नही सकती लेकिन भाजपा का खेल बिगाडने की कोशिश जरुर कर सकती है.
राजनीतिक विश्लेषक मानते है, कोई ख़ास फर्क नही पड़ेगा
अभी शिवसेना ने यूपी में एंट्री का ऐलान तो किया है लेकिन राजनीतिक गणितज्ञ कहते है कि इसका कोई ख़ास प्रभाव पड़ने नही वाला है क्योंकि शिवसेना पहले बिहार में भी अपनी किस्मत आजमाने की कोशिश कर चुकी है लेकिन वहां पर भी उनके हाथ कुछ भी नही लगा तो यूपी भला क्या उससे ख़ास अलग है? दोनों ही राज्यों में उनकी ख़ास गुडविल मौजूद नही है.
हाँ इससे कुछ खबरे और हेडलाइन जरुर बन सकती है लेकिन सीट्स आ पाना बेहद ही मुश्किल है. खैर अभी देखना ये होगा कि शिवसेना पाने यूपी में किस तरह के उम्मीदवार उतारती है और क्या उद्धव ठाकरे खुद केम्पेन करने के लिए यूपी जाने वाले है?
अगर ऐसा होता है तो फिर यूपी की राजनीति और भी अधिक दिलचस्प बन सकती है क्योंकि यूपी को भारत की राजनीति का केंद्र माना जाता है और जो यहाँ पर जीत गया उसके केंद्र में पहुँचने के चांस भी सबसे अधिक माने जाते रहे है.