अभी हाल ही में देश ने एक बहुत ही बुरी खबर देखी जिसने कही न कही लोगो को तोड़कर के रख दिया, लोग बहुत ही ज्यादा दुखी हुए और प्रेशर में तो है ही, अगर हम लोग बात करे खबर की तो आपको मालूम ही है कि रोहित सरदाना का निधन हो गया है और अब जब ऐसा हो गया है तो कई लोग है जो सीधे तौर पर श्रद्धांजली अर्पित कर रहे है, मगर कुछ लोग ऐसे भी है जो अपनी कुंठा निकालने के लिए इसे एक माध्यम के रूप में इस्तेमाल भी कर रहे है जो हमें हैरान कर देता है.
रवीश ने कहा रोहित सरदाना को ‘सरकार का अपना पत्रकार’, पैनिक फैलाने की भी कोशिश
रवीश कुमार ने रोहित सरदाना को सीधे तौर पर श्रद्धांजली के बहाने एक लंबा चौड़ा पोस्ट लिखा जिसमे वो सिर्फ और सिर्फ सरकार को कोसते हुए नजर आये, फिर यही नही वो रोहित के जीवन भर की पत्रकारिता का अपमान करते हुए उनको ‘सरकार का अपना पत्रकार’ कहते हुए भी समबोधित करते है. क्या रोहित सरदाना सरकार के लिए काम करते थे? ये अपने आप में एक अजीब सा वक्तव्य है. हालांकि बादमे जब आलोचनाएं होने लगी तो उन्होंने पोस्ट को एडिट कर दिया और एक नही बल्कि दसो बार वो एडिट करके खुदको बचाते रहे.
रवीश ने घरेलू इलाजो पर सवाल खड़े किये, सिस्टम और सरकार को कोसा और कई सारी चीजे है जो उन्होंने अपने आप में सीधे तौर पर बस मोदी के इर्द गिर्द ही लिखी. ये अपने आप में काफी अधिक हैरान करने वाला भी था क्योंकि इसके लिए एक अलग से पोस्ट भी लिखी जा सकती थी लेकिन रोहित सरदाना की श्रद्धांजली के बीच में राजनीति घुसाकर के वहाँ पर इस तरह की बाते करना उनके प्रशंसको को बड़ा दुखी जरुर कर रहा है.
कही न कही आज रोहित नही है तो उनके पीछे लोग कुछ भी बोल दे रहे है और अपने हिसाब से एनालिसिस कर देते है क्योंकि जब वो थे तब उनके सामने किसी की बोलने की हिम्मत होती ही नही थी.